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Happiness is Free: दिवाली मनाए लेकिन सेहत को ध्यान में रखकर, जानिए इस दिवाली कैसे रखें अपनी सेहत का ख्याल ?

सालभर हमें बेसब्री से रोशनी व खुशियों के त्यौहार दीपावली का इंतजार रहता है, और दिवाली आते ही हमारी खरीदारी की लिस्ट कुछ ज्यादा ही लंबी हो जाती है। घर की साफ-सफाई से लेकर, घर की सजावट तक के लिए हम अपने दिमाग के घौड़े कुछ ऐसे दौड़ाते हैं कि दिवाली के आते-आते हम खुद ही इंटीरियर डिज़ाइनर बन जाते हैं। घर में मिठाईयों और गिफ्ट्स की तो जैसे भरमार ही लग जाती है तरह-तरह के स्वादिष्ट व्यंजन, मिठाईयां, कुकीज़ को दिन में कितनी बार खाना हो ही जाता है, लेकिन शायद ही हम कभी इसके कारण हमारे स्वास्थ्य को होने वाले नुकसान के बारे में सोच पाते हैं।

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क्या आप जानते हैं कि त्योहारों के इन दिनों ज्यादा मिठाईयां और तले हुए पकवान खाना, देर रात तक परिवार और दोस्तों के साथ त्योहार मनाना और साथ ही पटाखों से फैलने वाला प्रदूषण, शोर हमारे स्वास्थ्य के लिए कितना खतरनाक होता है, इसलिए जरूरी है कि जागरूकता फैलाई जाए और सावधानियां अपनाई जाएं ताकि दिवाली खुशियां देकर जाए न की आपके स्वास्थ्य को बीमार करके जाए।

त्योहारों पर लोग शराब का सेवन भी ज़्यादा कर लेते हैं, जिसे खुशी और जश्न का प्रतीक मानते हैं, जो सीधे-सीधे स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचाता है। कई लोगों का शराब पीकर वाहन चलाना तो किसी हादसे को दावत देने के ही समान है। दिवाली के दौरान ज्यादा तला और मसालेदार खाना खाने को लेकर डॉक्टर्स का कहना है कि दिवाली के दौरान जिन मिठाईयों का सेवन किया जाता है वह आम तौर पर वनस्पति घी से बनी होती हैं जिनमें काफी मात्रा में ट्रांस फैट होता है जो अच्छे कॉलेस्ट्रॉल को कम और बुरे कॉलेस्ट्रॉल को बढ़ाता है। इसमें मौजूद चीनी की अत्यधिक मात्रा से मोटापा बढ़ती है और डॉयबिटीज के मरीजों के लिए थोड़ी सी भी मिठाई जानलेवा हो सकती है।

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डॉक्टर्स की मानें तो इन दिनों लोग अक्सर बाहर खाने जाते हैं और ऐसी डिशीज़ चुनते हैं जो तली हुई होती हैं ये तेल न जाने कितनी बार इस्तेमाल किया गया होता हैं जो सीधे-सीधे आपके पेट व दिल के लिए हानिकारक हो सकता है। मसालेदार खाने से पेट में एसिड बढ़ जाता है जिससे पेट में अल्सर भी हो सकता है। इससे रक्तचाप बढ़ सकता है और दिल पर दबाव पड़ता है। जिन लोगों को पहले से दिल के रोग और ब्लॉकेज जैसी समस्याएं हैं उन्हें दिल का दौरा पड़ने या अक्समात कार्डियक अरेस्ट का खतरा हो सकता है।

वहीं दूसरी और अगर दिवाली में ज्यादा पटाखे जलाते हैं तो पटाखों से न सिर्फ प्रदूषण फैलता है बल्कि कई एलर्जी और सांस से जुड़ी समस्याएं भी हो सकती हैं। दिल के मरीजों को चाहिए कि वह शाम के वक्त घर के अंदर ही रहें क्योंकि उस वक्त सबसे ज्यादा पटाखे जलाए जाते हैं। बचाव से ही सेहतमंद व खुशियों भरी दिवाली हो सकती है। दीपावली पर सीमित मात्रा में ही पटाखे जलाने चाहिए और ज्यादा शोर करने वाले पटाखों से बचना चाहिए, गैसों के जहरीले धुएं से बचने के लिए मास्क पहनना चाहिए, पटाखों के शोर से बचने के लिए दिल और हाईपरटैंशन के मरीज कानों में ईयर प्लग लगाएं। उच्च कैलरी वाली मिठाईयों से बचें और शराब कम पीएं।

दिवाली खुशीयों का प्रतीक हैं लेकिन अगर आप स्वास्थ्य रहेंगे तो ही इन खूशीयों का मज़ा उठा पायेंगे इसलिए बेहतर यही होगा कि अपने शरीर को खतरे में न डालें, खास कर दिल के रोगी, अस्थमा, हाईपरटेंशन, मोटापे और डॉयबिटीज वालों को सावधान रहना चाहिए।